रविवार, 20 फ़रवरी 2011

हैआंसुओं से भी कहो आँखों में आना छोड़ दें

"चलो अच्छा हुआ, जो तुम मेरे दर पे नहीं आए
तुम झुकते नहीं, और मैं चौखटें ऊंची कर नही पाता !"


बच्चो के सच्चे जेहनो में झूठी बातें मत डालो ,
कांटो कि सोहबत में रह कर फूल नुकीला हो जाता है ..

घर के हालात तो चेहरे से बयान होते हैं.......फिर क्यों कमरे को करीने से सजा रखा है??..................
तुम पूछो और मैं ना बताऊँ ऐसे तो हालात नहींएक जरा सा दिल टूटा है और तो कोई बात नहीं


आसमां से उतारा गयाजिंदगी दे के मारा गयामौत से भी न जो मर सकाउसको नजरों से मारा गया

नादान जवानी का जमाना गुजर गयाअब आ गया बुढ़ापा सुधर जाना चाहियेआवारगी में हद से गुजर जाना चाहिये

ग़लत बातों को ख़ामोशी से सुनना हामी भर लेनाबहुत हैं फ़ायदे इसमें मगर अच्छा नहीं लगता

मुझे दुश्मन से भी ख़ुद्दारी की उम्मीद रहती हैकिसी का भी हो सर, क़दमों में सर अच्छा नहीं लगता


तुमने मेरे घर न आने की क़सम खाई तो हैआंसुओं से भी कहो आँखों में आना छोड़ दें

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